छत्तीसगढ़ समेत अन्य राज्यों में घूम-घूम कर चोरी करने वाले अंतर्राज्यीय गिरोह के 2 सदस्य गिरफ्तार, पुलिस ने बरामद किया 3.50 लाख का सोना…. सुने मकान को बनाते थे निशाना
रायपुर: प्रदेश में बढ़ते अपराध को देखते हुए सभी पुलिस बेहद सक्रिय और सघन चेकिंग अभियान चलाकर अपराधों पर अंकुश लगा रही है। इसी कड़ी में एक ऐसे गिरोह को पुलिस ने धर दबोचा है जो सूने मकान को अपना निशाना बनाते थे और चोरी कर फरार हो जाते थे। बता दे यह गिरोह ना केवल छत्तीसगढ़ में अपितु अन्य राज्यों में भी सक्रिय है और इन घटनाओं को अंजाम दे रहा है।
बता दें प्रार्थी जागेन्द्र साहू ने थाना सेजबहार में रिपोर्ट दर्ज कराया कि वह आशीष नगर का रहने वाला है तथा आई.आई.टी. सेजबहार मंे टेक्निकल के पद पर कार्यरत है। प्रार्थी के मित्र राजेश मंगवानी जो प्रार्थी के साथ ही काम करता है ने बताया कि वह भोपाल में है तथा उसकी नौकरानी बताई है कि उसके घर के मकान के दरवाजा का ताला टूटा है जाकर देखो तो सामान बिखरा था।कोई अज्ञात चोर सूने मकान के दरवाजे का कुंदा काट कर अंदर प्रवेश कर सोने चांदी के जेवरात एवं नगदी रकम को चोरी कर ले गया। जिस पर अज्ञात आरोपी के विरूद्ध थाना सेजबहार में अपराध क्रमांक 193/20 धारा 457, 380 भादवि. का अपराध पंजीबद्ध किया गया।
वहीं एक और पीड़ित चन्द्रकांत साहू ने थाना विधानसभा मंे रिपोर्ट दर्ज कराया उसके घर में लगी सिटकनी टूटी थी, कमरे के अंदर जाकर देखा तो सामान बिखरा पडा था एवं आलमारी का लाॅक खुला था। कोई अज्ञात चोर प्रार्थी के सूने मकान के मेन गेट में लगी सिटकनी को तोड़कर कमरे में लगे ताले को तोड़कर कमरे अंदर प्रवेश कर आलमारी का लाॅक तोड़कर सोने चांदी के जेवरात एवं नगदी रकम को चोरी कर ले गया। जिस पर अज्ञात आरोपी के विरूद्ध अपराध क्रमांक 337/20 धारा 457, 380 भादवि. का अपराध पंजीबद्ध किया गया।
चोरी की घटनाओं को पुलिस उप महानिरीक्षक एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय यादव द्वारा गंभीरता से लेते हुये संबंधित थानों के थाना प्रभारियों को अज्ञात आरोपी की पतासाजी कर गिरफ्तार करने हेतु आवश्यक दिशा निर्देश दिये गये। जिस पर वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देशन में सायबर सेल की टीम का गठन कर अज्ञात आरोपी की पतासाजी प्रारंभ किया गया। टीम द्वारा चोरी के घटना स्थलों का निरीक्षण करते हुए अज्ञात आरोपी की पतासाजी प्रांरभ किया गया।
घटना के संबंध में प्रार्थियों सहित आसपास के लोगों से विस्तृत पूछताछ किया जाकर घटनास्थल व उसके आसपास लगे सी.सी.टी.व्ही. कैमरों के फुटेजों को खंगालने के साथ ही अज्ञात आरोपियों के संबंध में तकनीकी विश्लेषण भी किया गया। साथ ही घटना स्थलों के निरीक्षण से यह जानकारी प्राप्त हुई कि चोर गिरोह द्वारा ऐसे काॅलोनियांे में चोरी की जाती है जिसके पीछे खाली मैदान या खेत हो और ये खेत या मैदान के रास्ते से ही काॅलोनियों मंे प्रवेश करते है और चोरी करने के बाद उन्हीं रास्तों से फरार हो जाते है।
रायपुर पुलिस द्वारा पूर्व में भी इसी तरह से चोरी करने वाले आरोपियों को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की गई थी। अतः टीम द्वारा इस तरह के तरीका वारदात के आधार पर अपराध घटित करने वाले धार (म.प्र.) गिरोह पर फोकस करते हुये कार्य प्रारंभ किया गया। तकनीकी विश्लेषण के दौरान एवं घटना स्थलों के निरीक्षण से टीम को आरोपियों के संबंध में एक महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त हुई जिस पर सायबर सेल की 10 सदस्यों की टीम प्रभारी सायबर सेलरमाकांत साहू के नेतृत्व में मध्यप्रदेश के जिला धार हेतु रवाना की गई।
टीम द्वारा धार जिला पहुंचकर आरोपियों के संबंध में जानकारी एकत्रित करना प्रारंभ किया गया। टीम को जानकारी प्राप्त हुई की आरोपी मूलतः टाण्डा थाना क्षेत्र के ग्राम बगौली एवं गुराड़िया के निवासी है जो पहाड़ो में घर बनाकर निवास करते है। टीम द्वारा आरोपियों के संबंध में जानकारी प्राप्त कर स्थानीय पुलिस की मदद लेकर उनकी गिरफ्तारी का प्रयास प्रारंभ किया गया और आरोपियों के निवास क्षेत्र में रेड कार्यवाही प्रारंभ की गई। चूंकि आरोपी पहाड़ों में घर बनाकर निवास करते है एवं जाने के लिए केवल पगडंडियों का ही उपयोग किया जा सकता है। जिससे आरोपी दूर से ही पुलिस टीम को देखकर पत्थर एवं तीर कमान से हमला करना प्रारंभ कर दिये एवं पहाड़ांे की तरफ भागने लगे एवं आरोपियों के परिवार की महिलाओं द्वारा सामने आकर पुलिस टीम से उलझना एवं गाली देना प्रारंभ कर दिया।
टीम द्वारा आरोपियों का पीछा करते हुए गिरोह के राकेश बामनिया को गिरफ्तार करने में सफलता मिली। आरोपी को हिरासत में लेकर पूछताछ प्रारंभ किया गया एवं आरोपी से प्राप्त जानकारी के आधार पर ग्राम गुराड़िया में रेड कार्यवाही करते हुए गिरोेह के एक अन्य सदस्य छीत्तू मोहनिया को गिरफ्तार किया गया। आरोपियों ने पूछताछ में चोरी की उक्त घटनाओं को कारित करने के अलावा देश भर में घुम – घुम कर चोरी की अन्य घटनाओं को भी कारित करना स्वीकार किया है। आरोपियों की निशानदेही पर उनके कब्जे से चोरी गये सोने चांदी के जेवरात एवं नगदी रकम जुमला कीमती 3,50,000/- रूपये जप्त किया जाकर आरोपियों को गिरफ्तार कर उनके विरूद्ध अग्रिम कार्यवाही किया गया। घटना में शामिल गिरोह के 03 सदस्य फरार है जिनके संबंध में गिरफ्तार आरोपियांे से पूछताछ की जाकर फरार आरोपियों को गिरफ्तार करने के हर संभव प्रयास किये जा रहे है।
तरीका का वारदात :
इस गिरोह के सदस्य ऐसे काॅलोनियों की पहचान करते है जिसके पीछे खेत या खाली मैदान स्थित हो एवं घटना करने वाले दिन शाम के समय से ही काॅलोनियों के पीछे स्थित खेतों में जाकर सो जाते है एवं रात्रि 01 बजे के बाद हाथांे में पत्थर एवं आलाजरब लेकर काॅलोनियों में पीछे के रास्तों से प्रवेश करते है तथा सूने मकानों में घुस कर चोरी कर पीछे के रास्ते से ही अलग-अलग फरार होकर ट्रेन के माध्यम से वापस अपने घर चले जाते है। चोरी के दौरान वे हाॅफ पैंट एवं बनियान पहने रहते है एवं अपने कपड़े खेतों में छोड़ देते है भागते समय पुनः कपड़े पहनकर ग्रुप के सभी सदस्य अलग-अलग रास्तों से रवाना होकर अपने गांव चले जाते है। गिरोह के सभी सदस्य मूलतः भील जाति के है एवं एक ही परिवार के एवं आपस में रिश्तेदार होते है।
आरोपियों की गिरफ्तार करने एवं मशरूका बरामद करने में निरीक्षक रमाकांत साहू, प्र.आर. सरफराज चिश्ती, संदीप दीक्षित, राधाकांत पाण्डेय, महेन्द्र राजपूत, आर. विजय पटेल, राजिक खान, दिलीप जांगडे, प्रमोद बेहरा, धनंजय गोस्वामी, रवि तिवारी एवं म.आर. बबीता देवांगन का महत्वपूर्ण योगदान रहा।
छत्तीसगढ़ समेत अन्य राज्यों में घूम-घूम कर चोरी करने वाले अंतर्राज्यीय गिरोह के 2 सदस्य गिरफ्तार, पुलिस ने बरामद किया 3.50 लाख का सोना…. सुने मकान को बनाते थे निशाना
रायपुर: प्रदेश में बढ़ते अपराध को देखते हुए सभी पुलिस बेहद सक्रिय और सघन चेकिंग अभियान चलाकर अपराधों पर अंकुश लगा रही है। इसी कड़ी में एक ऐसे गिरोह को पुलिस ने धर दबोचा है जो सूने मकान को अपना निशाना बनाते थे और चोरी कर फरार हो जाते थे। बता दे यह गिरोह ना केवल छत्तीसगढ़ में अपितु अन्य राज्यों में भी सक्रिय है और इन घटनाओं को अंजाम दे रहा है।
बता दें प्रार्थी जागेन्द्र साहू ने थाना सेजबहार में रिपोर्ट दर्ज कराया कि वह आशीष नगर का रहने वाला है तथा आई.आई.टी. सेजबहार मंे टेक्निकल के पद पर कार्यरत है। प्रार्थी के मित्र राजेश मंगवानी जो प्रार्थी के साथ ही काम करता है ने बताया कि वह भोपाल में है तथा उसकी नौकरानी बताई है कि उसके घर के मकान के दरवाजा का ताला टूटा है जाकर देखो तो सामान बिखरा था।कोई अज्ञात चोर सूने मकान के दरवाजे का कुंदा काट कर अंदर प्रवेश कर सोने चांदी के जेवरात एवं नगदी रकम को चोरी कर ले गया। जिस पर अज्ञात आरोपी के विरूद्ध थाना सेजबहार में अपराध क्रमांक 193/20 धारा 457, 380 भादवि. का अपराध पंजीबद्ध किया गया।
वहीं एक और पीड़ित चन्द्रकांत साहू ने थाना विधानसभा मंे रिपोर्ट दर्ज कराया उसके घर में लगी सिटकनी टूटी थी, कमरे के अंदर जाकर देखा तो सामान बिखरा पडा था एवं आलमारी का लाॅक खुला था। कोई अज्ञात चोर प्रार्थी के सूने मकान के मेन गेट में लगी सिटकनी को तोड़कर कमरे में लगे ताले को तोड़कर कमरे अंदर प्रवेश कर आलमारी का लाॅक तोड़कर सोने चांदी के जेवरात एवं नगदी रकम को चोरी कर ले गया। जिस पर अज्ञात आरोपी के विरूद्ध अपराध क्रमांक 337/20 धारा 457, 380 भादवि. का अपराध पंजीबद्ध किया गया।
चोरी की घटनाओं को पुलिस उप महानिरीक्षक एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय यादव द्वारा गंभीरता से लेते हुये संबंधित थानों के थाना प्रभारियों को अज्ञात आरोपी की पतासाजी कर गिरफ्तार करने हेतु आवश्यक दिशा निर्देश दिये गये। जिस पर वरिष्ठ अधिकारियों के निर्देशन में सायबर सेल की टीम का गठन कर अज्ञात आरोपी की पतासाजी प्रारंभ किया गया। टीम द्वारा चोरी के घटना स्थलों का निरीक्षण करते हुए अज्ञात आरोपी की पतासाजी प्रांरभ किया गया।
घटना के संबंध में प्रार्थियों सहित आसपास के लोगों से विस्तृत पूछताछ किया जाकर घटनास्थल व उसके आसपास लगे सी.सी.टी.व्ही. कैमरों के फुटेजों को खंगालने के साथ ही अज्ञात आरोपियों के संबंध में तकनीकी विश्लेषण भी किया गया। साथ ही घटना स्थलों के निरीक्षण से यह जानकारी प्राप्त हुई कि चोर गिरोह द्वारा ऐसे काॅलोनियांे में चोरी की जाती है जिसके पीछे खाली मैदान या खेत हो और ये खेत या मैदान के रास्ते से ही काॅलोनियों मंे प्रवेश करते है और चोरी करने के बाद उन्हीं रास्तों से फरार हो जाते है।
रायपुर पुलिस द्वारा पूर्व में भी इसी तरह से चोरी करने वाले आरोपियों को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की गई थी। अतः टीम द्वारा इस तरह के तरीका वारदात के आधार पर अपराध घटित करने वाले धार (म.प्र.) गिरोह पर फोकस करते हुये कार्य प्रारंभ किया गया। तकनीकी विश्लेषण के दौरान एवं घटना स्थलों के निरीक्षण से टीम को आरोपियों के संबंध में एक महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त हुई जिस पर सायबर सेल की 10 सदस्यों की टीम प्रभारी सायबर सेलरमाकांत साहू के नेतृत्व में मध्यप्रदेश के जिला धार हेतु रवाना की गई।
टीम द्वारा धार जिला पहुंचकर आरोपियों के संबंध में जानकारी एकत्रित करना प्रारंभ किया गया। टीम को जानकारी प्राप्त हुई की आरोपी मूलतः टाण्डा थाना क्षेत्र के ग्राम बगौली एवं गुराड़िया के निवासी है जो पहाड़ो में घर बनाकर निवास करते है। टीम द्वारा आरोपियों के संबंध में जानकारी प्राप्त कर स्थानीय पुलिस की मदद लेकर उनकी गिरफ्तारी का प्रयास प्रारंभ किया गया और आरोपियों के निवास क्षेत्र में रेड कार्यवाही प्रारंभ की गई। चूंकि आरोपी पहाड़ों में घर बनाकर निवास करते है एवं जाने के लिए केवल पगडंडियों का ही उपयोग किया जा सकता है। जिससे आरोपी दूर से ही पुलिस टीम को देखकर पत्थर एवं तीर कमान से हमला करना प्रारंभ कर दिये एवं पहाड़ांे की तरफ भागने लगे एवं आरोपियों के परिवार की महिलाओं द्वारा सामने आकर पुलिस टीम से उलझना एवं गाली देना प्रारंभ कर दिया।
टीम द्वारा आरोपियों का पीछा करते हुए गिरोह के राकेश बामनिया को गिरफ्तार करने में सफलता मिली। आरोपी को हिरासत में लेकर पूछताछ प्रारंभ किया गया एवं आरोपी से प्राप्त जानकारी के आधार पर ग्राम गुराड़िया में रेड कार्यवाही करते हुए गिरोेह के एक अन्य सदस्य छीत्तू मोहनिया को गिरफ्तार किया गया। आरोपियों ने पूछताछ में चोरी की उक्त घटनाओं को कारित करने के अलावा देश भर में घुम – घुम कर चोरी की अन्य घटनाओं को भी कारित करना स्वीकार किया है। आरोपियों की निशानदेही पर उनके कब्जे से चोरी गये सोने चांदी के जेवरात एवं नगदी रकम जुमला कीमती 3,50,000/- रूपये जप्त किया जाकर आरोपियों को गिरफ्तार कर उनके विरूद्ध अग्रिम कार्यवाही किया गया। घटना में शामिल गिरोह के 03 सदस्य फरार है जिनके संबंध में गिरफ्तार आरोपियांे से पूछताछ की जाकर फरार आरोपियों को गिरफ्तार करने के हर संभव प्रयास किये जा रहे है।
तरीका का वारदात :
इस गिरोह के सदस्य ऐसे काॅलोनियों की पहचान करते है जिसके पीछे खेत या खाली मैदान स्थित हो एवं घटना करने वाले दिन शाम के समय से ही काॅलोनियों के पीछे स्थित खेतों में जाकर सो जाते है एवं रात्रि 01 बजे के बाद हाथांे में पत्थर एवं आलाजरब लेकर काॅलोनियों में पीछे के रास्तों से प्रवेश करते है तथा सूने मकानों में घुस कर चोरी कर पीछे के रास्ते से ही अलग-अलग फरार होकर ट्रेन के माध्यम से वापस अपने घर चले जाते है। चोरी के दौरान वे हाॅफ पैंट एवं बनियान पहने रहते है एवं अपने कपड़े खेतों में छोड़ देते है भागते समय पुनः कपड़े पहनकर ग्रुप के सभी सदस्य अलग-अलग रास्तों से रवाना होकर अपने गांव चले जाते है। गिरोह के सभी सदस्य मूलतः भील जाति के है एवं एक ही परिवार के एवं आपस में रिश्तेदार होते है।
आरोपियों की गिरफ्तार करने एवं मशरूका बरामद करने में निरीक्षक रमाकांत साहू, प्र.आर. सरफराज चिश्ती, संदीप दीक्षित, राधाकांत पाण्डेय, महेन्द्र राजपूत, आर. विजय पटेल, राजिक खान, दिलीप जांगडे, प्रमोद बेहरा, धनंजय गोस्वामी, रवि तिवारी एवं म.आर. बबीता देवांगन का महत्वपूर्ण योगदान रहा।