December 26, 2024

कुपोषण मुक्ति में कारगर होगा फोर्र्टीफाइड चावल का वितरण

0
कुपोषण मुक्ति में कारगर होगा फोर्र्टीफाइड चावल का वितरण

रायपुर, राज्य सरकार आगामी एक नवंबर राज्य स्थापना दिवस से राज्य मे फोर्र्टीफाइड चावल के वितरण योजना की शुूरुआत कर रही है। राज्य मे इसके वितरण से निश्चय ही कुपोषण की दर में और अधिक कमी लाई जा सकेगी। फोर्टिफिकेशन वह प्रक्रिया है, जिसके अंतर्गत भोजन में आवश्यक सूक्ष्म पोषक तत्व जैसे- विटामिन और खनिज की मा़त्रा को बढा़ दिया जाता है। ताकि खाद्यान्न की पोषण गुणवत्ता में सुधार हो तथा साथ ही न्यूनतम जोखिम के साथ सार्वजनिक स्वास्थ्य लाभ प्रदान किया जा सके।
चावल का फोर्टिफिकेशन, चावल में आवश्यक सूक्ष्म पोषक तत्वों की मात्रा बढ़ाने और चावल की पोषण गुणवत्ता में सुधार करने की पद्धति है। छत्तीसगढ़ को धान का कटोरा कहा जाता है। यहॉ चावल  का अधिक मात्रा में उत्पादन किया जाता है, साथ ही चावल यहॉ का मुख्य खाद्यान्न फसल है। 
मुख्य आहार होने के कारण फोर्र्टीफाइड चावल का वितरण ही निश्चय ही लाभप्रद होगा। नियमित रूप से जोे चावल हमारे द्वारा उपभोग किया जाता है, उसमें सूक्ष्म पोषक तत्वों की कमी होती है और मुख्यतः कार्बोहाइड्रेट के स्रोत के रूप में कार्य करता है। जबकि फोर्टिफाइड चावल में विटामिन ए, विटामिन बी 1, विटामिन बी 12, फोलिक एसिड, आयरन और जिंक होते हैं। सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से फोर्र्टीफाइड चावल पोषण को बेहतर बनाने का एक अच्छा अवसर है। 
       शासन द्वारा बस्तर संभाग के कोण्डागांव जिले से इस योजना को प्रायोगिक आधार पर शुरू कर रही है। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल द्वारा वर्ष 2020-21 के अपने बजट भाषण में इस योजना को प्रारंभ करने की घोषणा की गई थी। यह फोर्र्टीफाइड चावल लोगों की खुराक में आवश्यक पौष्टिक तत्वों की पूर्ति के साथ ही कुपोषण के नियंत्रण में काफी कारगर सिद्ध होगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You may have missed