केंद्र पर पैसे रोकने के आरोपों पर बोली भाजपा, 5 गुना ज़्यादा मिल रहा
कांग्रेस के नेताओं द्वारा केंद्र पर लगातार राज्य की राशि नहीं देने के झूठे आरोप कांग्रेस के नेता लगाते रहे हैं जबकि केंद्र की मोदी सरकार कांग्रेस के शासन में छत्तीसगढ़ को यूपीए की मनमोहन सरकार से 5 गुना राशि दे रही है।
रायपुर। कांग्रेस के नेताओं द्वारा केंद्र पर लगातार राज्य की राशि नहीं देने के झूठे आरोप कांग्रेस के नेता लगाते रहे हैं जबकि केंद्र की मोदी सरकार कांग्रेस के शासन में छत्तीसगढ़ को यूपीए की मनमोहन सरकार से 5 गुना राशि दे रही है। इस विषय पर कांग्रेस की तरफ से अधिकृत बयान में कल बहुत से सारे तथ्य प्रस्तुत किए गए वह सारे तथ्य महाझूठ है।
भाजपा प्रदेश मीडिया प्रभारी सीए अमित चिमनानी आज प्रेस वार्ता में लैपटॉप और प्रोजेक्टर के साथ बैठे तथा प्रेस के साथियों को सरकारी वेबसाइट और महालेखाकार के सरकारी आंकड़ों के साथ कांग्रेस का पर्दाफाश किया। अमित ने कहा
पहले तो कांग्रेस ने अपने अधिकृत बयान में कहा है कि मनमोहन सरकार प्रति वर्ष 58 हजार करोड रुपए छत्तीसगढ़ को देती थी और 5 सालों में 2 लाख 90 हजार करोड रुपए छत्तीसगढ़ को मिले। जबकि मनमोहन सरकार के समय छत्तीसगढ़ प्रदेश का बजट ही 58 हजार करोड़ रुपए नहीं था।
छत्तीसगढ़ का बजट वर्ष 2003-04 का बजट लगभग 8,400 करोड़, मनमोहन सरकार के अंतिम वर्ष 2013-14 में प्रदेश का बजट लगभग 44 हजार करोड था। अतः कांग्रेस द्वारा दिया गया आंकड़ा महाझूठ है क्योंकि बजट का कुल आकार राज्य की आय, केन्द्र सरकार द्वारा दी जाने वाली राशि व लिए जाने वाले कर्ज को मिलाकर बनता है। कांग्रेस की मनमोहन सरकार से छत्तीसगढ़ को 1 वर्ष में 58 हजार करोड़ तो दूर की बात 5 वर्षों में भी 58 हजार करोड नहीं मिले।
वर्ष 2004/09 तक मात्र लगभग 28 हजार करोड़ 5 वर्षाे में और 2009/2014 तक 5 वर्षाे में लगभग 56 हजार करोड़ कांग्रेस की केंद्र सरकार ने छत्तीसगढ़ को दिए।
याने कि प्रति वर्ष औसत छत्तीसगढ़ को केवल 8,500 करोड रुपए ही मिले और कुल राशि मिली लगभग 85 हजार करोड रुपए 10 वर्षों में। जबकि कांग्रेस ने अपने अधिकृत बयान में 5 वर्षों में 2 लाख 90 हजार करोड़ मिलने का दावा किया वह प्रतिवर्ष 58 हजार करोड मिलने का दावा किया। केंद्र की मोदी सरकार छत्तीसगढ़ को कांग्रेस राज में कुल अब तक के 4 वर्षों में एक लाख 71 हजार करोड़ यानी औसत प्रतिवर्ष 42,500 करोड रुपए दे रही है जो कि मनमोहन सरकार के समय औसत 8,500 करोड रहा अतः यह प्रमाणित हो रहा है कि मोदी सरकार कांग्रेस की मनमोहन सरकार की तुलना में छत्तीसगढ़ को 5 गुना राशि दे रही है।
इतना पैसा मिलने के बावजूद भी कांग्रेस के नेताओं के झूठे बयान आना संघीय व्यवस्था का एक भद्दा मजाक उड़ाने जैसा है कांग्रेस के नेताओं के ऐसे झूठे बयानों ने अब उनकी विश्वसनीयता खत्म कर दी है कांग्रेस के नेता झूठ बोलने में कितने माहिर हैं यह कल के कांग्रेस के बयान ने स्पष्ट कर दिया है। कांग्रेस ने कल छत्तीसगढ़ को इनकम टैक्स के शेयर के रूप में मिली 29,080 करोड़ राशि को भी झूठा कहा जो कि स्वयं छत्तीसगढ़ फाइनेंस की वेबसाइट पर स्पष्ट रूप से प्रदर्शित है।
कॉरपोरेट टैक्स के 31,484 करोड़ की राशि नहीं मिली कांग्रेस ऐसा बता रही हैं जबकि उसका मिलना छत्तीसगढ़ फाइनेंस की ही वेबसाइट पर प्रदर्शित है। जीएसटी की राशि को लेकर भी कांग्रेस सरकार लगातार राशि न मिलने की बात करती आई है जबकि अधिकृत आंकड़े यह बता रहे हैं कि जीएसटी की टैक्स की राशि और क्षतिपूर्ति की राशि के रूप में राज्य को लगभग 40 हजार करोड़ की राशि प्राप्त हो चुकी है महज कुछ करोड़ की क्षतिपूर्ति का मिलना बाकी है जिसकी पहली किस्त जारी हो चुकी है।
यह पूर्णत:सत्यापित हो चुका है कि कांग्रेस एक निचले स्तर की राजनीति करने वाला दल बन चुका है जिसकी बातों की कोई प्रमाणिकता नहीं जिनके अधिकृत प्रवक्ता खुलेआम असंख्य झूठ बोलते हैं और जनता को भ्रमित करते हैं ऐसे में जनता से कही गई इनकी सारी बातें झूठ है और कांग्रेस की सरकार झूठ की बुनियाद पर ही बनी और झूठ के सहारे ही खड़ी हुई है।
वर्ष 2003-04 से वर्ष 2013-14 तक कभी भी कांग्रेस की मनमोहन सरकार द्वारा दी जाने वाली राशि राज्य के बजट का 80 फीसदी नहीं रही जो की कांग्रेस का दावा था बल्कि अधिकतम 45 फीसदी रही है। जबकि राज्य की खुद की आय ज्यादा रही। कांग्रेस का यह दावा भी पूर्णतः असत्य है। प्रमाण के रूप में महालेखाकार द्वारा जारी 2003-2004 से 2013-2014 के आंकड़ें संलग्न किए गए। अमित ने कहा कांग्रेस सरकार द्वारा केंद्र से मांगी जाने वाली राशि के आंकड़े भी सफेद झूठ है वास्तव में मोदी जी पांच गुना राशि भेज रहे है मोदी जी जनता के लिए पैसा भेज रहे है लेकिन पैसा निकल अधिकारियो के घर से रहा है।